क्या अब हिन्दुस्तान का भी सौदा करेगी भाजपा ?
23.9 के घाटे में जीडीपी-धड़ल्ले से सरकारी कंपनियों का निजीकरण किया जा रहा ?
क्या अब हिन्दुस्तान का भी सौदा करेगी भाजपा ? 23.9 के घाटे में जीडीपी-धड़ल्ले से सरकारी कंपनियों का निजीकरण किया जा रहा – फिरभी सरकार कंगाल – आखिर रुपया कहाँ जा रहा ? शिव भाटिया।
अब रही ठेकेदारी की बात तो भारत मे अडानी और अम्बानी ग्रुप छोड़ कर केंद्रीय सरकार के पास और कोई दूसरा विकल्प ही नहीं। क़र्ज़ लेना है तो अडानी, अम्बानी, क़र्ज़ देना है तो अडानी,। सरकारी ठेकेदारी देना है तो अडानी-अम्बानी को या कोई गुजराती इनके अपने चहिते को। केंद्रीय सरकार के मंत्रालयों के शास्त्री भवन और कृषिभवन, उद्योग भवन के मरम्मती का ठेका एक गुजराती कम्पनी को दे दिया गया।